कजली: फैशन से बरबादी
सब का ई फैशन किये बा बेकार यार,
दुःखी संसार यार ना ।।
ब्लाउज चोटी कट सिलावे, तार स्वर्ण का खिचावे।
चमके चम चमाचम चोली ऊपर तार यार।। दुःखी संसार यार ना ।।
उल्टा पल्ला साड़ी सजके, घूँघट काढ़े चेहरा झलके।
देखि दशा अइसन संस्कृति लचार यार।। दुःखी संसार यार ना ।।
अब के लौडे रंग रूट, पहिने बैगी कट सूट।
हेयर हैपी कट है फैशन की बहार यार।। दुःखी संसार यार ना ।।
गावे मग मे फिल्मी गाना, इनका नाही धरम बचाना।
कहते आर0 के0 ना बनो तुम गवार यार।। दुःखी संसार यार ना ।।
सब का ई फैशन किये बा बेकार यार,
दुःखी संसार यार ना ।।
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